हाथ हिलाते रहते हैं यात्री, खाली निकल जाती हैं बसें

हाथ हिलाते रहते हैं यात्री, खाली निकल जाती हैं बसें


कमलेश जायसवाल
खमरिया-खीरी। स्टॉपेज पर खड़े यात्री बस रोंकने के लिए हाथ हिलाते ही रह जाते हैं और सरकारी बसें बिना सवारियां लिए खाली दौड़ती रहती हैं। लखनऊ से ऐरा जाने वाली परिवहन निगम की अनुबंधित बस दर्जनों सवारियां छोड़ सिर्फ सात यात्री लेकर गई। जिसकी शिकायत यात्रियों ने जिलाधिकारी से की है।
शनिवार की सुबह करीब नौ कैसरबाग डिपो की अनुबंधित बस नम्बर यूपी 42 एटी 8517 जिला मुख्यालय से ऐरा के लिए रवाना हुई। बस में मात्र आधा दर्जन यात्री थे। सौजन्या चौक पर बने स्टाफ, अनुपम नर्सिंग होम, नहर चौराहा और राजापुर चौराहे पर खड़े दर्जनों यात्रियों ने ऐरा जाने के लिए बस रुकवाने के प्रयास किए। पर चालक और परिचालक ने मनमानी करते हुए बस नहीं रोकी।
इसी बस में सवार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र की एक महिला कर्मी ने राजापुर चौराहे पर खड़ी अपनी सहकर्मी के लिए बस रोंकने के लिए चालक से कहा भी, परन्तु परिचालक ने बस आगे बढ़ाने को कह दिया। जिस वजह से  यात्री बस में नहीं सवार हो सके।
इस रूट पर परिवहन स्टाफ की मनमानियां व्यवस्था पर भारी पड़ रही हैं। धौरहरा जाने वाली बसों में से एक भी बस ऐरा खमरिया नहीं जाती है। जबकि ऐरा खमरिया निर्धारित स्टापेज भी है और विभाग अनुबंधित बसों को तय दूरी का डीजल और पैसा भी देती है। यही नहीं इस रूट पर चलने वाली कई बसें जिला मुख्यालय के बस अड्डे पर न जाकर सीधे राजापुर से निकल रही हैं।
इस मनमानी के बाद यात्रियों ने जिलाधिकारी खीरी, एआरएम परिवहन लखीमपुर व एआरएम लखनऊ को व्हाट्सएप के जरिए शिक़ायत कर जनहित में कार्रवाई की मांग की है।

पहला नहीं है यह मामला

यह कोई पहला मामला नहीं है जब उत्तर प्रदेश परिवहन की बसों के चालकों और परिचालकों द्वारा यात्रियों के साथ ऐसा किया गया। आए रोज ऐसे कई मामले सामने आते रहते हैं जब यात्री सड़कों पर खड़े होकर हाथ हिलाते रहते हैं और बस चालक बस रोकने की जहमत तक नहीं उठाता। इससे परिवहन विभाग को जो नुकसान होता है वह तो होता ही है साथ ही सार्वजनिक सेवा का लाभ लेने से भी यात्री वंचित रह जाते हैं। मजबूरन उन्हें डग्गामार वाहनों से यात्रा करनी पड़ती है जो असुरक्षित भी है। ऐसे में उत्तर प्रदेश परिवहन विभाग के अधिकारियों को ऐसे चालक और परिचालकों पर कठोर कार्रवाई करनी चाहिए। जिससे वह भविष्य में इस तरह की हरकत न करें।

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