23 दिन खीरी की जेल में कैद रही थींं शीला दीक्षित
लखीमपुर-खीरी। दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित के राजनीतिक जीवन का एक छोटा सा हिस्सा लखीमपुर खीरी से भी जुड़ा हुआ है। खीरी जिले के कारागार में शीला दीक्षित ने 23 दिन बिताए थे। उनके साथ जिले के एक विधायक भी कैद थे और स्वर्गीय शीला दीक्षित का खाना इन्हीं के घर से आता था।
यह बात है 1990 की। इटावा में महिला अत्याचार के खिलाफ बड़ा आंदोलन हुआ था। उस वक्त उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव थे। शीला दीक्षित सांसद थी। उन्होंने इस आंदोलन में सक्रिय भागीदारी की थी। उनके साथ हजारों लोग इस आंदोलन का हिस्सा बने थे। स्वर्गीय शीला दीक्षित, दर्शन सिंह यादव सहित करीब 82 लोग इटावा में अरेस्ट हुए थे। शीला दीक्षित सहित कुछ कांग्रेसियों को लखीमपुर कारागार में ट्रांसफर कर दिया गया था। जिसमें पूर्व विधायक स्वर्गीय तेज नारायण त्रिवेदी व उनके साले अखिलेश चंद्र मिश्र भी शीला दीक्षित के साथ जेल में कैद किए गए थे। 23 दिन शीला दीक्षित व अन्य कांग्रेसी खीरी की जेल में कैद रहे। इस दौरान शीला दीक्षित का खाना व नाश्ता विधायक जी के घर से जाता था। बाद में यूपी सरकार ने मुकदमा वापस ले लिया था और सभी की रिहाई के आदेश हो गए थे। आज कांग्रेसियों में शीला दीक्षित के निधन को लेकर गहरा शोक व्याप्त है।
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